Best Motivational Story in hindi- जुनून हो तो Lionel Messi जैसा!


कुछ साल पहले अर्जेंटीना के गवर्नमेंट को एक स्पेशल नियम बनाना पड़ा था। जिसके चलते कोई भी पेरेंट्स अपने बच्चों का नाम Messi नहीं रख सकते थे और इसके पीछे रीज़न था, यह बंदा Lionel Messi क्योंकि वहां पर Messi नाम के लोग इतने हो चुके थे कि आगे चलकर सबकी पहचान खतरे में पड़ जाती।

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 "Messi is one of the best football player in the history of Football"

 जिन्होंने 6 Ballon d'or award जीत कर कई रिकॉर्ड भी बनाए हैं। वैसे तो, Messi ka नाम और Messi के रिकॉर्ड तो सभी जानते हैं लेकिन Messi को Messi बनाने के लिए कितनी मुश्किल और कितनी कठिनाइयों का सामना करना पड़ा है, यह बहुत ही कम लोग जानते हैं और इनकी ये journey काफी inspiring भी रही है। इस बंदे को 10 साल की छोटी उम्र में Growth Hormone Deficiency जैसी भयानक बीमारी का सामना करना पड़ा। इस बीमारी के चलते बॉडी की growth रुक जाती है और फुटबॉल तो एक ऐसा खेल है, जिसमे बंदे का कद बहुत मायने रखता है। 10 साल की उम्र में, अगर ऐसी situation आए तो बहुत से बच्चें टूट जाते है, हार मान जाते है, पर हार मान जाए, वो Legend कैसा? इस बीमारी के इलाज में इस बंदे को छोटी सी उम्र में हर दिन अपने पैरों पर इंजेक्शन लगवाना पड़ता था, जो की एक दस साल के बच्चे के लिए बहुत ही तकलीफ दायक था और इस बीमारी का इलाज भी काफी महंगा था, जिसके चलते इनके parents की सारी savings खतम हो गई पर ऐसी हालात में कोई उन्हें Loan देने के लिए भी तैयार नहीं था क्योंकि Messi के पिता एक मामूली वर्कर थे और मां दूसरों के घरों में काम किया करती थी।

 दोस्तों, हर Winner में एक बात कॉमन होती है और वो ये की कितनी भी मुसीबतें आए, कितनी भी तकलीफ हो, कितनी बार भी हार का सामना करना पड़े, ये तब तक पीछे नही हटते, जब तक की ये जो चाहते है, उसे हासिल नहीं कर लेते। ऐसे बुरे वक्त में Messi ने भी कभी हार नही मानी और अपने practice को double कर दिया क्योंकि इस उम्र तक आते आते फुटबॉल, उनके लिए एक गेम से बड़ कर उनकी जिंदगी बन चुका था। ऐसी बीमारी के हालत में भी ये बंदा मैच खेलने के लिए चला गया और इसका इनाम उसे तुरंत मिला क्योंकि वो मैच देखने के लिए Barcelona Youth Club के डायरेक्टर आए थे। Messi का खेल देख कर, वे काफी impress हो गए और तुरंत Messi के माता पिता से मिलने के लिए चले गए। Messi के माता पिता से मिलने के बाद, उन्हें पता चला की Messi को एक Hormone Growth Deficiency नामक बीमारी है।


 इसके बाद उन्होंने Messi के माता-पिता को एक ऑफर दिया की उनकी टीम Messi के इलाज का सारा खर्चा उठाएगी लेकिन उसके लिए Messi को स्पेन आ कर Barcelona Youth Club के लिए खेलना पड़ेगा। उस हालात में Messi का इलाज करना, उनके माता पिता के लिए मुमकिन नहीं था इसलिए वो तुरंत ही इस ऑफर के लिए मान गए और Messi स्पेन चले गए। जहां, उनका ठीक से इलाज हुआ लेकिन इस बंदे की छोटी हाइट की वजह से कई बार उन्हें अपनी टीम में खेलने का मौका नहीं मिला और मौका मिला तो फिर उनके Team members उन्हें बॉल pass नहीं करते थे। पर, Messi तो Messi है।

 वह जैसे तैसे करके बॉल ले लेते थे और फिर 15–15 मिनट तक कोई उनसे बॉल छीन नहीं पाता था। आज कोई ऐसा Football Lover नही होगा, जो Messi को नही जानता। मैं तो कुछ ऐसे लोगों को भी जनता हूं, जो फुटबॉल को सिर्फ Messi की वजह से जानते हैं। 2012 में 91 गोल बनाने वाले Messi एक लौते खिलाड़ी बने और इसके चलते उनका नाम Guinness Book of World Record में लिखा गया। ये एक लौते ऐसे खिलाड़ी हैं, जिनके पास 6 गोल्डन बूट अवॉर्ड्स है, इसके साथ ही Messi समाजसेवी का काम भी करते हैं। 2012 में, इन्होंने एक बच्चे के 6 साल के मेडिकल बिल्स के लिए स्पॉन्सर किया था, जो Growth Harmon Deficiency नामक बीमारी का सामना कर रहा था, जिससे कुछ साल पहले ये बंदा खुद गुजर चुका था।

दोस्तों, कहते हैं हर सपना पूरा होता है, हर ख्वाहिश पूरी होती है और यह दुनिया भी झुकती है। बस बंदा झुकाने वाला चाहिए। जो हर मुसीबत के सामने चट्टान की तरह खड़ा हो।

"If you want to be a winner 
Hustle like a winner"
धन्यवाद!
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